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मंगलवार, 7 अक्टूबर 2025

बेंचि रहा हो ऊन

 रोजी  कै अद्धत नहीं,  बेरोजगार  का हून। 

जस जाड़े कांपत कोउ, बेंचि  रहा हो ऊन।।   

हेमराज हंस 

रात सजी जग मग जागत है।
देस स्वस्तिक अस लागत है।।
दिया लेस के कहय अमाबस
हे ! रघुनंदन जू का स्वागत है।।
हेमराज हंस भेड़ा

सोमवार, 6 अक्टूबर 2025

रविवार, 30 मार्च 2025

गुरुवार, 12 दिसंबर 2024

लिहे किसनमा ठाढ़ है

 लिहे किसनमा ठाढ़ है, खेते कै फ़रियाद।

बिजली घाई गोल ही, मोरे बीज कै खाद।।
हेमराज हंस

संत सताबत देख के

 संत सताबत देख के,लगी हिदय मा ठेस।

केतू नामक हराम है, जालिम बांग्ला देस।।
हेमराज हंस

जेखर उपरउझा लिहिस

 जेखर उपरउझा लिहिस, जूझा भारत देस।

वहय सनातन का बना, सबसे बड़ा कलेस।।
हेमराज हंस

जे गरीब तक से लिहिन

 जे गरीब तक से लिहिन, अपने पुरबी घूंस।

देशभक्ति के सभा मा, ओखर जबर जलूस।।
हेमराज हंस

गुरुवार, 21 नवंबर 2024

रविवार, 27 अक्टूबर 2024

नल कुबेर के हिदय मा,

 नल  कुबेर  के हिदय  मा, काहे उचय  न  टीस। 

वा एक तो बड़मंसी  लिहिस, औ मागै बकसीस।। 

भला बताई आप से, कउन ही आपन सउंज।
अपना बोतल का पियी, हम पी पानी अउंज।।

रविवार, 13 अक्टूबर 2024

छोहगइली लये चांदनी

 छोहगइली लये चांदनी, जागी सगली रात। 

नदी तीर गोठत  रहा, चन्दा रोहणी साथ  । । 

जब से पोखरी ताल का, होइगा पानी थीर। 
ता चकबा निरखैं  लगा, चंदा  कै  तसबीर।।  

प्रेम भरी पोखरी रही,

 प्रेम भरी पोखरी रही, कोउ दिहिस घघोय। 

जस बिजली के तार का, जम्फर टूटा होय।। 

हेमराज हंस  

पहिले लड़ीं गिलास खुब

पहिले लड़ीं गिलास खुब, नेम प्रेम सम भाव। 
फेर गारी गुझुआ  भयीं, होय  लाग जुतहाव।। 
हेमराज हंस 

बुधवार, 28 अगस्त 2024

शुक्रवार, 23 अगस्त 2024

शनिवार, 10 अगस्त 2024

सोमवार, 1 जुलाई 2024

लिपटिस पीपर से कहिस

लिपटिस पीपर से कहिस, है उपयोग हमार। 
पै  भारत मा  हर  जघा,  पूजा  होय   तुम्हार।। 

पीपर बोला  सुन सखा,  हम  भारत   के बीज।
हम हन मंदिर अस हिया, औ तुम जस टाकीज।। 
हेमराज हंस  

गुरुवार, 6 जून 2024

लेत रहें जे थान के, लम्बाई कै नाप।

 लेत  रहें  जे थान  के,  लम्बाई  कै नाप।

अर्ज देख लोटय लगा,उनखे छाती सांप।।



भला बताई आप से, कउन ही आपन सउंज।

अपना बोतल का पियी, हम पी पानी अउंज।।

न मात्रा का ज्ञान है, न हम जानी वर्ण।

 न मात्रा  का  ज्ञान  है, न हम  जानी वर्ण। 

पारस के छुइ दये से, लोहा होइगा स्वर्ण।। 

रविवार, 2 जून 2024

मानो मोहनिया घाट

 तुम रहत्या जब साथ ता , पता चलय न बाट। 
औ रस्ता छोह्गर लगै, मानो मोहनिया घाट।। 
हेमराज हंस 

गुरुवार, 30 मई 2024