बुधवार, 28 अगस्त 2024

शनिवार, 24 अगस्त 2024

हरछठ केर उपास

 चुकनी  मा चुकरी धरे ,भरे  सतनजा  भूंज। 

 दाऊ कै मइया चलीं , अगना हरछठ पूज।। 


छुला जरिया कांस औ ,पसही महुआ फूल।  

हरछठ प्रकृति अभार कै ,हिबै भाबना मूल। । 


दादू केर भभिस्य हो , उज्जर  संच  सुपास। 

अम्मा कै सुभकामना, हरछठ केर उपास।।  


मघा नखत बदरी करय, धरती का खुशहाल।

महतारी  के  हाथ  कै,  जइसा  परसी  थाल।। 

व्यंग्यकार के व्यंग सुनाकर आप अपने को हंसने से नहीं रोक पाएंगे #chitrako...

शुक्रवार, 23 अगस्त 2024

संकट मा भारत दइस

संकट मा भारत दइस, सरना गत का टेक। 

तस्लीमा  नसरीन  हों, चाह  हसीना  सेख।। 

हेमराज हंस   

अपना के हाथ उघन्नी ही।

 अपना के हाथ उघन्नी ही। 

औ  हमरे  नेरे  नहन्नी ही।।

 

गारा  मा  है   रेतय  रेता  

परबस बपुरी  कन्नी ही।।  


बैतरनी के खातिर गइया 

कूकुर का पोहकन्नी ही।। 


सड़ुआइन का धोती पोलका 

बहिनी  निता  दुअन्नी  ही।।  


चउमासे मा सुटुर पुटुर जिउ 

घर  कै   टूटी    धन्नी    ही।।

 

लाल किला बोलिआय देख के 

हंस  के  छाई  पन्नी   ही। । 

हेमराज हंस 

मंगलवार, 20 अगस्त 2024

सलेंडर परा भुसहरा मा।

 सलेंडर परा भुसहरा मा।

भोजन पकै अदहरा मा।।
तुम बिकास का बाँचा ब्याकरन
हम अटके हयन ककहरा मा। ।
हेमराज हंस

खजुलैयां

 खजुलैयां कै सुभकामना, सादर राम जोहार। 

नेम- प्रेम से सब रहैं ,  समता का   तेउहार। ।

 

अपने  रीत  रिबाज  का,  गांव  समेटे  गर्व । 

पुरखन  कै  थाती  धरे, मना  रहा  है  पर्व ।। 


खजुलइयां लइके मिला, हमरे गांव का नेम। 

द्यखतै जिव हरिआय गा,  परिपाटी का प्रेम।। 

शुक्रवार, 16 अगस्त 2024

आबा मुखिया जी स्वागत है

 आबा  मुखिया जी स्वागत है 

आबा मुखिया जी स्वागत है। 

 शारद मइया कै धर्म भूमि। 

य 'बाबा 'जी कै कर्म भूमि। । 

भुइ गोलामठ औढरदानी कै  । 

सम्पत तेली बलिदानी कै। । 

मुड़िया बाबा के धूनी मा 

बंदन अभिनन्दन शत शत है। । 

आबा मुखिया जी स्वागत है। । 

हेन ही मिल्लस कै परिपाटी। 

पुरवा ,ओइला ,गणेश घाटी। । 

औ रामपुर के राधा किशना। 

दर्शन से मिटै धृणा तृष्णा। । 

बड़ा अखाडा मा मनस्वनी 

कै पयस्वनी निकरत है। । 

आबा ---------------------

या विंध्य द्धार लेशे है कलश। 

पानी लये कलकल बहै टमस। । 

जब से ठगि के गें हें कुम्भज। 

ता विंध्य का निहुरा है गुम्मच  । । 

गुरू अगस्त के निता झुका  

या अटल  झुकेही  का ब्रत है। । 

आबा मुखिया ----------------

भे सोम दत्त साहित्यकार।

आल्हा कीन्हिनभक्तीअपार।

जे ह्यन आवा वा पावत है।

आवा मुखिया जी स्वागत है।

रविवार, 11 अगस्त 2024

जन कवि तुलसीदास

कोऊ संकराचार भा, कोऊ रामाचार्य।
तुलसी सबका जोर के, बन गें परमाचार्य।।
जे जनता के हिदय मा, करै जुगन से बास।
सादर अपना का नमन, जन कवि तुलसीदास।।
धन्न बिंध कै भूमि ही, धन्न राजापुर ग्राम।
जहाँ के मानस मा रमय, साक्षात श्री राम। ।  

हे हुलसी नंदन तुलसी

 हे  हुलसी नंदन तुलसी, पूज्यपाद  श्री संत। 
हे भारतीयता   के रक्षक चिरनवीन अनंत। । 

धन्य धरा वह राजा पुर की बहती जहां कालिंदी। 
धन्य प्रेरणा रत्नावलि की महिमा मंडित हिंदी। । 
धन्य कलम जिसने दिये मानस से सद्ग्रन्थ। 
जो सदाचार मर्यादा का बतलाते नित पंथ। । 
जिसके पठन से आत्म शांति होती अनुभूति तुरंत।
हे  हुलसी नंदन तुलसी, पूज्यपाद  श्री संत।।

शैव शाक्त औ वैष्णव जन को एक सूत्र में बांधा। 
मुक्तक से मानव मुक्ति की दूर करी है बाधा। । 
लौकिक सगुणोपासक बन कर अलौकिक दिया प्रकाश। 
शत शत बंदन अभिनन्दन गोस्वामी तुलसी दास। । 
सहज समन्वय कारी पंथ  केरहे जीवन पर्यन्त। 
हे  हुलसी नंदन तुलसी, पूज्यपाद  श्री संत ।।

 गंगोत्री के पावन जल से जलाभिषेक कर रमेश्वरम् का। 
ईश भक्ति में राष्ट्र भक्ति का देश प्रेम भारतीय धरम का। । 
रामचरित मानस के जैसा कर्तव्य बोध शोध उत्कर्ष। 
विश्व के किसी ग्रन्थ में ढूढे मिलेगा यह न पुनीत आदर्श। । 
सात समंदर पार  भी शाश्वत सनातन है अटल वंत।    
हे  हुलसी नंदन तुलसी, पूज्यपाद  श्री संत।।

हे भाषा के अमर भाष्कर किया  राष्ट्र भाषा उत्थान। 
स्वयं विनायकऔ  माँ वाणी गाते जिसका यशो गान। । 
चित्रकूट की तपो भूमि के हे तपस्वी संत महान। 
महा प्रलय तक ऋणी रहेंगे हिन्दू हिंदी हिन्दुस्थान। । 
जनम महोत्स्व मना रहा है आज भारतीयता का संत। 
हे  हुलसी   नंदन   तुलसी,   पूज्यपाद    श्री संत। ।
हेमराज हंस

शनिवार, 10 अगस्त 2024